Thursday, March 1, 2012

राजनैतिक, आर्थिक, संस्कृतिक मुद्दो और आम आदमी के सवालो पर सार्थक हस्तक्षेप Hastakshep.com

राजनैतिक, आर्थिक, संस्कृतिक मुद्दो और आम आदमी के सवालो पर सार्थक हस्तक्षेप Hastakshep.com

Link to Hastakshep.com

व्यंग्य : गब्बर सिंह सपने में आये

Posted: 01 Mar 2012 08:57 AM PST

अरविन्द त्रिपाठी    आज अलसुबह एक सपना देखा. कहते हैं सुबह का सपना सच हो जाता है, ये सोंचकर सारा दिन परेशान रहा. पत्नी के बार-बार परेशानी का कारण पूछने पर मैंने बताया ,आज गब्बर सिंह सपने में आया था. वास्तव में ‘गब्बर’ बहुत परेशान था. शोले की तरह ही मुझसे बार-बार पूछने लगा -”कब [...]

पूरा आलेख पढने के लिए देखें एवं अपनी प्रतिक्रिया भी दें http://hastakshep.com/

स्वागत योग्य पाकिस्तानी पहल

Posted: 01 Mar 2012 08:39 AM PST

मधुवन दत्त चतुर्वेदी भारत और पाकिस्तान के रिश्तों के लिए पाकिस्तानी केबिनेट परस्पर व्यापार में निगेटिव लिस्ट का फैसला एक उत्साहजनक पहल है जिसका स्वागत किया जाना चाहिए . पाकिस्तान के प्रति हमारे नज़रिए को स्वस्थ रुख का होना चाहिए . एक संस्मरण रचनात्मक समाज की प्रधान स्व. निर्मला देशपांडे संत विनोबा भावे के सम्बन्ध [...]

पूरा आलेख पढने के लिए देखें एवं अपनी प्रतिक्रिया भी दें http://hastakshep.com/

चुनाव आयोग के राईट टू रिजेक्ट की हवा निकाल जनता ने लोकतंत्र बचा लिया

Posted: 01 Mar 2012 04:30 AM PST

प्रदीप तिवारी उत्तर प्रदेश के चुनाव चल रहे हैं।  फिर शुरू होगा परिणामों की समीक्षा का एक दौर और सरकार बनाने के लिए सम्भवतः जोड़-तोड़ का खेल। फिर आम जनता के बीच शायद एक लम्बी खामोशी? हमें इस खामोशी को तोड़ना होगा। अभी साल भर भी नहीं हुआ है जब मीडिया भ्रष्टाचार के खिलाफ जन [...]

पूरा आलेख पढने के लिए देखें एवं अपनी प्रतिक्रिया भी दें http://hastakshep.com/

गुजरात नरसंहार के दस साल :- कहाँ तक पहुंची इंसाफ़ की लड़ाई?

Posted: 01 Mar 2012 03:24 AM PST

इक़बाल अहमद गुजरात में 2002 में हुए दंगों के पीड़ितों का इंसाफ़ के लिए संघर्ष दस वर्ष बाद भी जारी है.कुछ मामलों में लोगों को इंसाफ़ ज़रूर मिला है और दोषियों को सज़ा भी सुनाई गई है लेकिन वे दंगे इतने भयावह थे और पीड़ितों की संख्या इतनी ज़्यादा है कि इंसाफ़ की ये लड़ाई [...]

पूरा आलेख पढने के लिए देखें एवं अपनी प्रतिक्रिया भी दें http://hastakshep.com/

पित्रोदा को बढई,प्रणव को बंगाली और मनमोहन को सरदार बना दिया !

Posted: 29 Feb 2012 09:02 PM PST

अंबरीश कुमार लखनऊ फरवरी। उत्तर प्रदेश विधान सभा चुनाव के अंतिम चरण की साठ सीटों के लिए गुरुवार यानि कल प्रचार ख़त्म होने से पहले सभी दलों ने पूरी ताकत झोकने के साथ ही अब आगे के दांव पेंच शुरू हो गए है । मुलायम सिंह यादव और मायावती तो अपने अंदाज में प्रचार कर [...]

पूरा आलेख पढने के लिए देखें एवं अपनी प्रतिक्रिया भी दें http://hastakshep.com/

No comments:

Post a Comment